April 24, 2025

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खटीमा में पूर्व फौजी को डिजिटल अरेस्ट कर 14 लाख से अधिक की ठगी की, क्या होता है डिजिटल अरेस्ट..कैसे बचें?

खटीमा।
देश में हर रोज डिजिटल अरेस्ट के मामले सामने आ रहे हैं। डिजिटल अरेस्ट करके लोगों से अभी तक अरबों रुपये की ठगी की गई है। ताजा मामला खटीमा का है
साइबर अपराधियों ने यहां के एक पूर्व सैनिक को डिजिटल अरेस्ट कर 14 लाख 39 हजार रुपये ठग लिए। पुलिस ने मामले की रिपोर्ट दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।
राजीव नगर निवासी पूर्व सैनिक जगजीवन सिंह ने पुलिस को दी तहरीर में बताया कि 16 नवंबर को उनके मोबाइल पर एक व्यक्ति का फोन आया। उसने बताया कि वह आरबीआई क्रेडिट कार्ड सेंटर से बोल रहा है। तुम्हारे नाम पर एसबीआई का क्रेडिट कार्ड इश्यू हुआ है, जिससे 1,13,626 रुपये का भुगतान अवशेष है। उसने कॉल ट्रांसफर कर बताया कि यह रिपोर्ट हैदराबाद पुलिस स्टेशन से आई है। उसने अपना नाम आकाश बताया। उसने वीडियो कॉलिंग से बात कर बताया कि तुम्हारे नाम पर नरेश गोयल को कार्ड बेचकर 2,00,000 रुपये लिए गए हैं।
इस पर जगजीवन सिंह ने कहा कि उनके नाम से कोई क्रेडिट कार्ड इश्यू नहीं है और वह किसी नरेश गोयल को नहीं जानते हैं। इसके बाद उसने बताया कि तुम्हारे नाम पर अरेस्ट वारंट जारी हुआ है और तुम्हे दो घंटे के अंदर हैदराबाद थाने में रिपोर्ट करना है अन्यथा गिरफ्तार कर लिया जाएगा। यह सुनकर वह घबरा गए। उसने फोन पर बताया कि यह बात किसी को नहीं बताना, नहीं तो आपकी जान को खतरा हो सकता है। उसने कहा कि तुम्हारा अरेस्ट वारंट होल्ड रखने के लिए सिक्योरिटी मनी डिपोजिट कोर्ट को करना पड़ेगा। उसने बताया कि वह चीफ के पास जा रहा है। चीफ तुम्हें कुछ गाइडलाइन देंगे। इसके बाद उसने चीफ से बात करवाई। बताया कि तुम्हें या तो पुलिस स्टेशन रिपोर्ट करना पड़ेगा या वीडियो कॉलिंग पर ऑनलाइन स्टेटमेंट देना होगा। उन्होंने कहा कि वह ऑनलाइन स्टेटमेंट दे सकते हैं। वह यहां से हैदराबाद नहीं आ सकते।
कुछ दिन पहले ही वर्धमान ग्रुप के मालिक को डिजिटल अरेस्ट करके सात करोड़ का चूना लगाया है। डिजिटल अरेस्ट से बचना एक बहुत मुश्किल काम है लेकिन यदि आप थोड़े भी सजग हैं और जागरूक हैं तो साइबर ठग आपका कुछ नहीं बिगाड़ सकते।
क्या है डिजिटल अरेस्ट?
डिजिटल अरेस्ट ब्लैकमेल करने का एक एडवांस तरीका है। डिजिटल अरेस्ट स्कैम के शिकार वही लोग होते हैं जो अधिक पढ़े लिखे और अधिक होशियार होते हैं। डिजिटल अरेस्ट का सीधा मतलब ऐसा है कि कोई आपको ऑनलाइन धमकी देकर वीडियो कॉलिंग के जरिए आप पर नजर रख रहा है। डिजिटल अरेस्ट के दौरान साइबर ठग नकली पुलिस अधिकारी बनकर लोगों को धमकाते हैं और अपना शिकार बनाते हैं। इस दौरान वे लोगों से वीडियो कॉल पर लगातार बने रहने के लिए कहते हैं और इसी बीच केस को खत्म करने के लिए पैसे भी ट्रांसफर करवाते रहते हैं ।

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