लधिया घाटी क्षेत्र में विवाहिता द्वारा जगलों को बचाने का लिया संकल्प!
वन महिलाओ के लिये रहे है उनके मायके के समान!
लोहाघाट! लधियाघाटी क्षेत्र में वन संरक्षण एवम वृक्षारोपण की नयी संस्कृति व प्रवृति विकसित हुयी है! यहा भी शादी विवाह के अवसर पर शहनाई की गुँज के साथ मैती आन्दोलन का स्वर गुजने लगा है । आज कोईराली के गिरीश जोशी व नव विवाहिता बबीता भट्ट ने अपने विवाह की तिथि को यादगार बनाने के लिये भिगराडा वन क्षेत्र के अन्तर्गत दोनों ने वृक्षारोपण कर समाज को एक नया सन्देश देते हुये कहाँ की वनों को लेकर ही मानव जीवन का अस्तिव है। यदि हम सब ने मिलकर वृक्षारोपण, वन सरक्षण एवम् आग से वनों को बचाने का प्रयास नही किया तो नयी पीढी हमे कभी माफ नही करेगी जिसे न तो हवा न पानी मिलेगा! इस अवसर पर रेन्जर हिमालय सिह टोलिया ने नव दम्पति को बधाई देते हुये कहाँ की वनों को सामूहिक प्रयासों से ही बचाया जा सकता है। इस अवसर गाँव के लोग भी इस मुहिम के साक्षी बने।
फोटो. नव दम्पति द्वारा विवाह की याद में किया जा रहा पौधारोपण
लधिया घाटी में नव विवाहित जोड़े ने पौध रोपण कर जंगल बचाने का लिया संकल्प

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